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देश हित की भावना किन नेताओं मेंही ?

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देशहित की भावना किन नेताओं में है ?
धर्म प्रेमी बंधुयों, तथा देश वासियों, हम लोग बहुत हीअच्छी जगहों पे खड़े हैं | या तो यह कहिये की हम लोग ठीक मौके पे खड़े हैं, अपने देश के राज नेताओं को जानने और समझने के लिये, की हमारे देश के कौन सी पार्टी और कौनसा नेता देश का हित चाहता है ?
 
माननीय प्रधान मन्त्री जी ने आनन फानन में अगर यह नोट बंदी का फैसला नही लेते तो यह कालाबाजारी करने वाले नेता अपनी नोटों को सादा बना लेते | यह जो कुछ भी हुवा देश के हित के लिये ही हुवा उन काला धन रखने और कमाने वालों को बिल कुल मौका नही मिला,और बड़ा अच्छा सबक मिला है उन कालाबाजारी करने वालों को,इनका विरोध जनता हित में नही अपने नोटों के नुकसान के लियेहै|
 
जो नेतागण यह कहकर सरकार के फैसला का विरोध कर रहे हैं, की जनता परेशन है और हम जनता के प्रतिनिधि हैं जनता का हित चाहते हैं,इस लिये विरोध कर रहे हैं | तो यह बात गलेके नीचे उतरने वाली नही है, कारण जनता से ज्यादा दुखी यह विभिन्न पार्टी के नेता ही हैं, जो ज्यादा शोर मचा रहे हैं,और लोकसभा में उधम मचा रहे हैं काम काज चलने नही दे रहे हैं |
 
कोई बन्द का धमकी दे रहा है तो कोई धरना में बैठे दिखाई दे रहे हैं कोई भारत में यहाँ वहां जनसभा करने की बातें कर रहे हैं |
भारत वासियों को एक मौका मिलगया है हमारे देश के नेताओं को पहचानने का, की कौन सा राजनीति पार्टी है,अथवा उनके नेता है, जो प्रधानता अपने को ना देकर देश को दे रहे हैं ? देश का भला कौन चाहता है, अब यह पारी जनता के हाथों में है जो उ०प्र० का चुनाव सामने है इसी मौके पर देश हित वाले नेता को ही हम चुनें |
 
जो पार्टी और उनके नेता भारत का भला नही चाहता उन्हें एक भी वोट नही मिलना चाहिए | चाहे वह हिन्दूवादी पार्टी कहलाने वाले शिवसेना ही क्यों ना हो,अगर देश हित में वह सहमत नही है, तो उन्हें भी वोट देना नही चाहिए | बाकि भारत में जो भी राजनीतिक पार्टीयां है उन्हें देश हित सही नही लगता तो उन्हें एक भी वोट नही मिलनी चाहिए | जैसा केजरीवाल को दिल्ली वासियों ने बिना जाने उसके साथ खड़े हुए | दोबारा यह गलती ना होने पाए हमें देश बचाना है धंधा करने वालों को पहचानना है आदि |
महेन्द्रपाल आर्य =वैदिकप्रवक्ता =दिल्ली =25 /11/16=

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